भाग कर्म का अर्थ
[ bhaaga kerm ]
भाग कर्म उदाहरण वाक्य
परिभाषा
संज्ञाउदाहरण वाक्य
- प्रथम तीन भाग कर्म दर्शन की व्याख्या आत्मा के दृष्टीकोण से करते हैं , जो की बंधन का कारक है एवं अंतिम तीन भाग कर्म की प्रकृति और सीमाओं की चर्चा करते हैं।
- प्रथम तीन भाग कर्म दर्शन की व्याख्या आत्मा के दृष्टीकोण से करते हैं , जो की बंधन का कारक है एवं अंतिम तीन भाग कर्म की प्रकृति और सीमाओं की चर्चा करते हैं।